मातृ सदन के स्वामी आत्मबोधानंद की अनशन पर सेहत गिरी, अस्पताल में भर्ती

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गंगा की अविरलता को लेकर मातृ सदन (matra sadan) में 23 फरवरी, 2021 से अनशन पर बैठे स्वामी आत्मबोधानंद की सेहत गिरने लगी है।

इसे देखते हुए 13 मार्च शनिवार को पुलिस और प्रशासन ने शनिवार शाम उन्हें उठाकर कनखल स्थित बंगाली अस्पताल में भर्ती करा दिया।

स्वामी आत्मबोधानंद swami (atmbodhanand) इस शर्त पर अस्पताल जाने के लिए तैयार हुए कि अस्पताल में उन्हें मुंह से कुछ नहीं खिलाया जाएगा।

वे अस्पताल में भी अनशनरत ही  रहेंगे। उधर, मातृ सदन (matra sadan) में अब स्वामी शिवानंद सरस्वती (swami shivanand Saraswati) ने अनशन शुरू कर दिया है।

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आपको बता दें कि गंगा की अविरलता और निर्मलता की मांग को लेकर आत्मबोधानंद ने 23 फरवरी, 2021 से अनशन शुरू किया था।

इसके पश्चात 8 मार्च, 2021 को उन्होंने जल का भी त्याग कर दिया था। इसके बाद से उनके स्वास्थ्य (health) में गिरावट आनी शुरू हो गई।

शनिवार दोपहर एसडीएम गोपाल सिंह चौहान, सीओ सिटी तहसीलदार और अन्य लोगों के साथ मातृ सदन पहुंचे।

शाम को आनंद को अनशन स्थल से उठाकर अस्पताल ले जाया गया। आपको बता दें कि मातृ सदन के संस्थापक स्वामी शिवानंद हैं।

उन्होंने तीरथ सिंह रावत (tirath singh rawat) की सरकार बनने पर मांग पूरा होने का भरोसा जताया।

कहा कि तीरथ पूर्व मुख्यमंत्री भुवन चंद्र खंडूड़ी (bhuvan Chandra khanduri) के शिष्य रहे हैं। उन्होंने भरोसा जताया कि जिस प्रकार खंडूरी ने खनन के कार्य को बंद कराया था, उसी तर्ज पर तीरथ भी उनकी मांगें मानेंगे।

आपको बता दें कि मातृ सदन की तीन मांगे हैं। पहली और सबसे महत्वपूर्ण मांग यह है कि गंगा (ganga), अलकनंदा (alaknanda), भागीरथी (bhagirathi) और सहायक नदियों पर सभी निर्माणाधीन और प्रस्तावित बांध रद्द किए जाएं। और गंगा भक्त परिषद (ganga bhakt parishad) का गठन किया जाए।

आपको बता दें कि पहले भी गंगा से जुड़ी इन मांगों को लेकर मातृ सदन के प्रो. जीडी अग्रवाल अपना बलिदान दे चुके हैं।

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